हर घर मे विद्यमान तुलसी कितनी गुणकारी है और चमत्कारी घरेलू औषधि है आइए जाने ।

तुलसी आयुर्वेदिक चिकित्सा पद्धति में सबसे ज्यादा प्रभावशाली औषधि के रूप में जानी जाती है। कैंसर और ऐसी अनेक लाइलाज बीमारियों में तुलसी चमत्कारिक रूप से पहुंचाती है। हम आपको बता दें तुलसी के पत्तों के रस को हल्का गर्म कर लें। अब दो-दो बूंद कान में टपकाएं। इससे कान का दर्द दूर होता है। 


हम आपको बता दें दांत दर्द में काली मिर्च और तुलसी के पत्तों की गोली बनाकर दातों के नीचे रखने से बहुत आराम मिलता है। वहीं तुलसी के रस को गुनगुने पानी में मिलाकर कुल्ला करने से गले की बीमारियां दूर हो जाती हैं।


 इसके सेवन से उल्टी में आराम मिलता है। तुलसी के पत्ते का रस दिन में तीन बार पीने से भूख बढ़ती है।


 2 ग्राम तुलसी की मंजरी को पीसकर काले नमक के साथ दिन में तीन-चार बार लेने से पेट दर्द में बहुत आराम मिलता है।


आप तुलसी के पत्तों के रस को हल्का गर्म कर लें।अब दो-दो बूंद कान में टपकाएं। इससे कान का दर्द दूर होता है।


कान के पीछे की सूजन को ठीक करने के लिए तुलसी के पत्ते, अरंड की कोपलें चुटकी भर नमक को पीसकर उसका गुनगुना लेप लगाएं। इससे कान के पीछे की सूजन खत्म हो जाती है।


दांत दर्द में काली मिर्च। तुलसी के पत्तों की गोली बनाकर दातों के नीचे रखने से बहुत आराम मिलता है।